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छत्तीसगढ़ : सरकारी स्कूल में दस साल से नहीं बंटा स्पोर्ट किट




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सरकारी स्कूल के बच्चे पढ़ाई में तो पिछड़ ही रहे हैं, खेल में भी फिसड्डी होते जा रहे हैं। वजह सिस्टम की नाकामी को कह सकते हैं। दरअसल बीते करीब दस साल से भिलाई निगम द्वारा संचालित सरकारी स्कूलों में स्पोर्टस किट ही नहीं दिया गया है। संसाधनों के अभाव में खेल प्रतिभाओं पर असर पड़ रहा। नेशनल व राज्य स्तरीय खेल में डंका बजाने वालों का आंकड़ा अपेक्षित कम हुआ है।

ऐसा नहीं है कि भिलाई नगर निगम के पैसा स्पोर्टस किट देने के लिए पैसा न हो। बता दें कि भिलाई नगर निगम हर संपत्तिकर दाता से शिक्षा उपकर के नाम पर भी टैक्स लेता है। दावा किया जाता है कि इस टैक्स के पैसे का इस्तेमाल स्कूल के विकास के लिए किया जाता है। जब सरकारी स्कूलों का कितना विकास हो रहा है यह साफ तौर पर देखा जा सकता है। इन स्कूलों का भवन तक संधारण नहीं किया जा रहा है। जेपी नगर स्कूल के संधारण के लिए पालकों को आंदोलन तक करना पड़ गया था।

दस साल से नहीं मिला किट

भिलाई नगर निगम द्वारा संचालित सरकारी स्कूलों में 2009 के बाद किट नहीं दिया गया। जबकि भिलाई नगर निगम क्षेत्र में 140 सरकारी स्कूल संचालित है। इन स्कूलों से कोई भी बच्चा न तो पढ़ाई में टॉप कर पा रहा है। न खेल में नाम कमा पा रहा है।

इनके कार्यकाल में बंटा था किट

भिलाई नगर निगम निर्माण के बाद तत्कालीन महापौर नीता लोधी, तथा उसके बाद महापौर बने विद्यारतन भसीन के कार्यकाल में हर साल सभी स्कूलों में स्पोर्टस किट बंटता रहा। 2009 के बाद से यह बंद हो गया।

नहीं निकल रहे प्रतिभाशाली बच्चे

दस साल से स्पोर्टस किट नहीं दिए जाने का मतलब आप समझ सकते हैं। भिलाई निगम स्पोर्टस पर ध्यान नहीं दे रहा है। यही वजह है कि इन स्कूलों से अब प्रतिभाशाली बच्चे नहीं निकल रहे हैं।

2009 के बाद से नहीं दिया ध्यान

2009 में भिलाई निगम में चुनावी तैयारी शुरू हो गई थी। 2010 में कांग्रेस की निर्मला यादव व 2015 में कांग्रेस के देवेंद्र यादव ने चुनाव जीता। 2010 के बाद शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने स्पोर्टस पर ध्यान ही नहीं दिया। यहां तक स्कूलों में होने वाले शाला स्तरीय प्रतियोगिता तक बंद हो गए। इसके लिए भिलाई निगम शिक्षा व खेल विभाग के अधिकारी ही जिम्मेदार है। पार्षदों ने भी कभी इसे लेकर आवाज नहीं उठाई।

दस साल में डेढ़ सौ बच्चों ने दिखाया दम

सन 2000 से 2009 तक भिलाई निगम के 140 स्कूलों में खेल को लेकर जागरुकता थी। फुटबॉल, दौड़, कबड्डी, खो-खो, बॉक्सिंग आदि खेलों में भिलाई निगम क्षेत्र के डेढ़ सौ से ज्यादा बच्चों ने नेशनल खेला। हालांकि नेशनल व स्टेट बच्चे अब भी खेल रहे हैं, पर संख्या लगातार अपेक्षित कम होती जा रही है।

भेजा है प्रस्ताव

प्रस्ताव भेजा गया है, पर बार-बार आयुक्त बदलने की वजह से थोड़ी दिक्कत हुई है। स्पोर्टस किट बच्चों को देना हमने प्राथमिकता में रखा है। जल्द दिया जाएगा।

-केशव बंछोर, प्रभारी शिक्षा विभाग

एमआईसी, नगर निगम भिलाई