Home छत्तीसगढ़ छत्तीसगढ़ : रायपुर में धार्मिक आयोजन, रैली या जुलूस में िबना अनुमति...

छत्तीसगढ़ : रायपुर में धार्मिक आयोजन, रैली या जुलूस में िबना अनुमति डीजे बजा तो एफआईआर…




IMG-20240704-WA0019
IMG-20220701-WA0004
WhatsApp-Image-2022-08-01-at-12.15.40-PM
1658178730682
WhatsApp-Image-2024-08-18-at-1.51.50-PM
WhatsApp-Image-2024-08-18-at-1.51.48-PM

 राजधानी में किसी भी धार्मिक आयोजन, जुलूस या रैली, उत्सव, विसर्जन या झांकी में डीजे बजाना बैन कर दिया गया है। राज्य बनने के बाद एेसा पहली बार निर्णय लिया गया है।  िबना प्रशासन की अनुमति डीजे बजाया तो सिस्टम जब्त कर लिया जाएगा। साथ ही दोिषयों के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज की जाएगी। इसके अलावा इसकी जांच के लिए प्रशासन और निगम अफसरों की पांच टीम भी बना दी गई है।  दरअसल पिछले हफ्ते ही महापौर प्रमोद दुबे ने दावा किया था कि डीजे की तेज आवाज की वजह से दो बुजुर्गों की मौत हो गई थी।

इसके बाद ही कलेक्टर डॉ. एस भारतीदासन ने प्रशासन और निगम अफसरों से प्रस्ताव मांगा था कि किन नियमों के आधार पर डीजे को पूरी तरह से प्रतिबंधित किया जा सकता है। सोमवार को अफसरों की रिपोर्ट मिलने के बाद कलेक्टर ने आदेश जारी कर साफ कर दिया है कि डीजे बजाने के लिए प्रशासन की अनुमति जरूरी है। 


उन्होंने आदेश में कहा है कि छात्रों की पढ़ाई, बुजुर्गों, निशक्तजनों, मरीजों को डीजे की तेज आवाज की वजह से कई तरह की परेशानियां होती हैं। इसलिए सुप्रीम कोर्ट और आवास एवं पर्यावरण विभाग की ओर से जनहित में दिए गए निर्देशों का सख्ती से पालन किया जाएगा। इसके तहत रायपुर जिले में बिना अनुमति के डीजे के साथ ही ध्वनि विस्तारक यंत्रों का उपयोग प्रतिबंधित कर दिया गया है। इसके अलावा मल्टी टोंड और प्रेशर हॉर्न पर भी कार्रवाई कर उसे जब्त किया जाएगा।

ऐसे मिलेगी अनुमति : डीजे बजाने के लिए संबंधित लोगों या संस्थाओं को निगम सीमा के अाधार पर जिम्मेदार अफसरों के पास आवेदन देना होगा। निगम क्षेत्र की शहरी सीमा के लिए यह आवेदन एडीएम के पास लिए जाएंगे। बाकी तहसीलों में एसडीएम के पास आवेदन देना होगा। आवेदन में इस बात की जांच की जाएगी कि डीजे कहां और कितने समय बजाया जाएगा। वहां आसपास अस्पताल, स्कूल या बड़ी आबादी तो नहीं है। सभी बिंदुओं पर जांच के बाद ही किसी को अनुमति मिलेगी। 

इन अफसरों की टीमें : शहर के अलावा बाकी तहसीलों में डीजे की जांच के लिए एसडीएम प्रणव सिंह, राजीव पांडेय, संदीप अग्रवाल, डिप्टी कलेक्टर अंकिता गर्ग और पूनम शर्मा को जिम्मेदारी दी गई है। ये अफसर अपनी टीम के साथ लगातार इस बात की जांच करेंगे कि बिना अनुमति के कहीं भी डीजे बज तो नहीं रहा है।