पुलिस के सामने आत्महत्या के मामले तो आए दिन सामने आते हैं लेकिन उत्तराखंड में पुलिस के सामने आत्महत्या के बाद ऐसे हालात बने की वह भी सकते में आ गई। किसी फिल्मी कहानी की तरह ही पल-पल बदलते हालातों के बीच पुलिस असली को खोजने के लिए परेशान होती रही। हरिद्वार में एक 40 साल के शख्स ने रविवार को जहर खाकर आत्महत्या कर ली थी। यहां तक तो पुलिस के लिए सबकुछ ठीक था, लेकिन पुलिसवालों की मुश्किल उस वक्त बढ़ गई जब मृतक का शव लेने के लिए एक, दो या तीन नहीं बल्कि 7-7 महिलाएं पुलिस के पास पहुंच गई। सभी महिलाएं खुद को मृतक की पत्नी बता रहीं थी।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, शुरुआत में 5 महिलाएं मृतक का शव लेने के लिए पहुंची थी। दिलचस्प बात यह थी कि इन पांचों महिलाओं में से कोई भी एक दूसरे को नहीं जानती थी और सभी इस बात से बेखबर थीं कि उनके पति की किसी अन्य महिलाा के साथ संबंध रहे हैं। पुलिस जब इस मुश्किल से निपट रही थी कि बाद में 2 अन्य महिलाएं भी थाने पहुंची और मृतक को अपना पति बताने लगीं।
मृतक के लिए 7-7 महिलाओं के दावे को देखकर पुलिस घनचक्कर हो गई। काफी देर तक चले ड्रामें और हंगामे के बाद पुलिस ने जैसे तैसे स्थिति को संभाला।
हरिद्वार की रविदास बस्ती में रहने वाला पवन कुमार पेशे से ड्रायवर था। पुलिस के मुताबिक रविवार रात को पवन ने जहर खा लिया था। जहर खाने के बाद उसकी हालत बिगड़ने पर उसकी पत्नी उसे अस्पताल लेकर गई थी लेकिन उसकी इलाज के दौरान मौत हो गई थी।
पुलिस की शुरुआती जांच में सामने आया था कि पीड़ित भारी आर्थिक तंगी से गुजर रहा था। इसके साथ ही यह भी सामने आया कि वह एक लो प्रोफाइल जिंदगी जी रहा था और उसके ज्यादा दोस्त भी नहीं थे।
सिटी पुलिस स्टेशन के एसएचओ प्रवीण कुमार कोशियारी ने बताया कि ‘हम इसकी जांच कर रहे हैं कि मृतक ने इतना बड़ा कदम क्यों उठाया? महिला जो मृतक को अस्पताल ले गई थी उसने खुद को मृतक की पत्नी बताया था लेकिन उसने आत्महत्या की वजह का खुलासा नहीं किया। हमने मृतक का शव ऑटोप्सी के लिए जिला अस्पताल भेजा है।’
इस घटना के सामने आने के बाद पुलिस भी सकते में हैं। वहीं अब तक मृतक द्वारा आत्महत्या करने की वजह का खुलासा नहीं हो सका है।