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PM मोदी 10 फरवरी को लोकसभा में बोल सकते हैं, किसान आंदोलन खत्म करने की होगी अपील….




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नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राष्ट्रपति के अभिभाषण पर सोमवार को राज्यसभा में जमकर बोले हैं. इस दौरान पीएम मोदी ने संसद से देश को FDI “फॉरेन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट” की नई परिभाषा बताई. वहीं अब सूत्रों का कहना है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 10 फरवरी को लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव का जवाब दे सकते हैं.

राज्यसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किसान आंदोलन से लेकर कोरोना से लड़ाई और वैक्सीन से जुड़ी कई बातों का जिक्र किया. उन्होंने किसानों को विश्वास दिलाया कि तीनों कृषि कानून पूरी तरह से किसानों के हित में हैं. उनका कहना है कि इस कानून के जरिए देश के 12 करोड़ से ज्यादा छोटे किसानों को सीधा फायदा मिलेगा. इसके साथ ही उन्होंने कहा है कि वह आंदोलनकारी किसानों के साथ हर संभव बातचीत के लिए तैयार हैं.

पिछली सरकारों की योजनाओं पर उठाए सवाल

राज्यसभा में पीएम मोदी ने कहा, ‘देश में लगातार छोटे किसानों की संख्या कम होती जा रही है. आंकड़े के मुताबिक 12 करोड़ से ज्यादा ऐसे छोटे किसान हैं, जिनके पास 2 हेक्टेयर से कम जमीन है और यह जो कानून लाए गए हैं, इसका सीधा फायदा ऐसे ही छोटे किसानों को मिलेगा.’

बड़े किसानों को ही मिला फायदा

इसके साथ ही प्रधानमंत्री ने पिछली सरकारों की कर्ज माफी की योजना पर सवाल उठाए. उनका कहना है कि कर्ज माफी जैसी योजना का फायदा सिर्फ बड़े किसानों को ही मिलता था और छोटे किसान उससे भी वंचित रह जाते थे. उन्होंने इसके साथ ही किसान बीमा योजना पर भी सवाल उठाए. उनका कहना है कि इसका फायदा भी बड़े किसानों को ही मिलता रहा है. उनका कहना है कि मोदी सरकार छोटे किसानों के फायदे के बारे लगातार सोच रही है.

सूत्रों के मुताबित अब 10 फरवरी को प्रधानमंत्री मोदी लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव का जवाब देने वाले हैं. जिसमें वह एक बार फिर से किसान आंदोलन को खत्म करने की अपील करते देखे जा सकते हैं. फिलहाल राज्यसभा में दिए गए भाषण से साफ है कि मोदी सरकार अभी कृषि कानूनों पर जल्द हाथ पीछे खींचने को तैयार नहीं है.