पश्चिम बंगाल में पहले चरण की वोटिंग से ठीक पहले ‘4 नए पाकिस्तान’ वाला बयान देकर टीएमसी नेता शेख आलम ने एक तरह से पार्टी को बैकफुट पर ला दिया है। भारतीय जनता पार्टी ने टीएमसी और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को घेरा है। हालांकि, मामले को तूल पकड़ता देख शेख आलम ने अपने बयान को लेकर माफी मांगी है और वहीं, टीएमसी ने उनके बयान से पल्ला झाड़ा है। मगर ऐसा माना जा रहा है कि पहले चरण के मतदान में इस बयान से टीएमसी को कुछ नुकसान हो सकता है।
क्या बयान दिया था
दरअसल, शेख आलम ने कहा था, ‘हम 30 फीसदी (मुस्लिम) हैं और वे 70 फीसदी (हिंदू)। वे (बीजेपी) 70 फीसदी के समर्थन से सत्ता में आएगी, उन्हें शर्म आनी चाहिए। यदि हमारी मुस्लिम आबादी एक तरफ हो जाए तो हम 4 नए पाकिस्तान बना सकते हैं। 70 फीसदी आबादी कहां जाएगी?’ शेख आलम ने बीरभूम विधासभा सीट के बासापारा के नानूर में लोगों को संबोधित करते हुए यह विवादित बयान दिया था।
कौन हैं शेख आलम
एबीपी न्यूज की खबर मुताबिक, शेख आलम एक लंबे समय से तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के कार्यकर्ता हैं, जो 2011 में पश्चिम बंगाल में टीएमसी के सत्ता में आने से पहले बम विस्फोट सहित कई मामलों में तीन बार जेल जा चुके हैं। हालांकि, ममता बनर्जी की सरकार बनने के बाद पश्चिम बंगाल में शेख आलम को टीएमसी ब्लॉक समिति का सदस्य बनाया गया था। ऐसा आरोप है कि आलम अजय नदी के अवैध रेत (बालू) कारोबार में कथित तौर पर शामिल रहे हैं।
खबर के मुताबिक, आंतरिक टकराव और विचारों में अंतर के कारण टीएमसी और शेख आलम के बीच कई मुद्दों पर मतभेद रहा है। हालांकि, आलम लोकसभा चुनाव के बाद टीएमसी नेता अनुब्रत मोंडल की मदद से पार्टी के साथ वापसी करने में कामयाब रहे। बताया जा रहा है कि नानूर में शेख आलम टीएमसी के काफी एक्टिव मेंबर हैं और इस इलाके के काफी लोकप्रिय चेहरा हैं। वह अक्सर टीएमसी के कार्यक्रमों में दिखते रहते हैं।
भाजपा ने बोला हमला
बीजेपी के आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने गुरुवार को शेख आलम का वीडियो ट्वीट किया तो हंगामा मच गया। बयान पर बढ़ते बवाल के बीच शेख आलम ने कहा, ”यदि मैंने किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचाया है तो मैं माफी चाहता हूं।” उधर, बीजेपी इस मुद्दे को आसानी से हाथ से जाने नहीं देना चाहती है और टीएमसी पर हमलावर है। बहरहाल, टीएमसी ने खुद को बयान से अलग करते हुए कहा कि वीडियो में दिख रहा शेख आलम टीएमसी का सदस्य नहीं है और उसने जो कहा है, पार्टी उसका समर्थन नहीं करती है। बीरभूम के नानूर में बनाया गया 30 सेकेंड का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है।
टीएमसी ने पल्ला झाड़ा
बहरहाल, टीएमसी के बीरभूम जिला के अध्यक्ष अनुब्रत मंडल ने स्पष्ट किया कि आलम सत्तारूढ़ दल का नेता नहीं है। उन्होंने कहा, ”शेख आलम न तो पार्टी का सदस्य है न ही नानूर से नेता है। हमारा उससे कोई संबंध नहीं है। हम इस तरह के बयान का समर्थन नहीं करते हैं। भारत धर्मनिरपेक्ष देश है और रहेगा।