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गोंगलई में बनकर तैयार हुआ 200 बेड का कोविड अस्पताल 07 मई से होगा प्रारंभ, कलेक्टर ने किया निरीक्षण




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दीपेश मोहारे की रिपोर्ट

बालाघाट जिले में कोरोना संक्रमित मरीजों की बढ़ती संख्या के साथ ही जिला प्रशासन उनके उपचार के लिए सुविधायें एवं व्यवस्थाओं को बढ़ाने में तत्परता से लगा हुआ है। इसी कड़ी में कोरोना संक्रमित मरीजों के उपचार के लिए कन्या शिक्षा परिसर गोंगलई-बालाघाट में आक्सीजन सुविधा युक्त 200 बेड का कोविड अस्पताल बनकर तैयार हो गया है। 07 मई से यह अस्पताल प्रारंभ हो जायेगा और इसमें कोविड मरीजों को भर्ती कर उनका उपचार प्रारंभ कर दिया जायेगा। कलेक्टर श्री दीपक आर्य ने आज 07 मई को गोंगलई के इस कोविड अस्पताल का अधिकारियों के साथ निरीक्षण कर वहां की व्यवस्थाओं का जायजा लिया।
इस दौरान पुलिस अधीक्षक श्री अभिषेक तिवारी, अपर कलेक्टर श्री फ्रेंक नोबल ए, सहायक कलेक्टर श्री दलीप कुमार, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ मनोज पांडेय, कोविड अस्पताल के प्रभारी डॉ पंकज महाजन, इस अस्पताल को तैयार करने वाले सर्व शिक्षा अभियान के सहायक यंत्री श्री भास्कर शिव, उपयंत्री श्री नरेन्द्र बोम्परे एवं स्वास्थ्य विभाग के अन्य अधिकारी उपस्थित थे। कलेक्टर श्री आर्य ने इस दौरान गोंगलई के इस कोविड अस्पताल में सेवायें देने वाले डाक्टर्स एवं स्टाफ नर्स से चर्चा की और उन्हें बताया कि कोरोना संक्रमित मरीजों के उपचार में जिला प्रशासन की उनसे किस तरह की अपेक्षायें है।
आक्सीजन सुविधा वाले बेड की संख्या 40 से बढ़कर 500 तक पहुंची
मार्च 2021 में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर जब बालाघाट जिले में दस्तक दे रही थी तब जिले में आक्सीजन सुविधा वाले मात्र 40 बेड ही उपलब्ध थे। लेकिन इसके बाद कलेक्टर श्री आर्य के मार्गदर्शन में प्रशासन एवं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने तत्परता के साथ कार्य कर अथक परिश्रम किया है। जिसके परिणाम स्वरूप अब जिले के शासकीय अस्पतालों में आक्सीजन सुविधा युक्त बेड की संख्या 500 हो गई है। गोंगलई के नये बने कोविड अस्पताल में पाईप लाईन से आक्सीजन सप्लाय वाले 110 बेड एवं आक्सीजन कंसंट्रेटर मशीन वाले 90 बेड तैयार किये गये है। इसके अलावा 70 बेड इस अस्पताल के आईसोलेशन वार्ड में बनाये गये है। कोरोना के जिन मरीजों की स्थिति सामान्य होगा और जिन्हें आक्सीजन की जरूरत नहीं होगी, ऐसे मरीजों को आईसोलेशन वार्ड में रखा जायेगा। इस अस्पताल के लिए आक्सीजन सिलेंडरों की भी पया्रप्त संख्या में व्यवस्था की गई है। जिससे अस्पताल में कभी भी आक्सीजन की कमी न हो सके।
सेवा भाव के साथ कार्य करें डाक्टर्स एवं स्टाफ नर्स
गोंगलई के इस नये कोविड अस्पताल में फार्मासिस्ट कमलेश ठाकुर, कमलेश उईके एवं राहुल खोब्रागढ़े की व्यवस्थाओं के प्रबंधन के लिए ड्यूटी लगाई गई है। इसके अलावा 25 डाक्टर्स एवं स्टाफ नर्स की ड्यूटी इस अस्पताल में लगाई गई है। कलेक्टर श्री आर्य ने इस नये कोविड अस्पताल में ड्यूटी करने वाले डाक्टर्स एवं स्टाफ नर्स से चर्चा के दौरान कहा कि भवन में बेड लगाने एवं आक्सीजन की सुविधा उपलब्ध कराने मात्र से अस्पताल नहीं बन जाता है। सही मायनों में अस्पताल बनता है तो वहां के स्टाफ की सेवा भावना एवं मरीज के साथ किये गये अच्छे व्यवहार से। इस नये कोविड अस्पताल में सेवायें देने वाले सभी डाक्टर्स एवं स्टाफ नर्स युवा है और उन्हें कोरोना संक्रमित मरीजों का लगन एवं उत्साह के साथ स्वयं को सुरक्षित रखते हुए उपचार करना है। जिला प्रशासन डाक्टर्स एवं स्टाफ नर्स को पीपीई किट से लेकर सभी जरूरी उपकरण एवं संसाधन उपलब्ध करा रहा है और परिसर के छात्रावास में उनके रहने एवं भोजन का भी इंतजाम किया जा रहा है। अब उनकी जिम्मेदारी है कि वे अपना काम ईमानदारी के साथ करें और मरीजों से किसी तरह की शिकायत का अवसर न आने दें। वार्ड में गंदगी न हो और साफ-सफाई की व्यवस्था अच्छी बनी रहे इसके लिए वार्ड बाय की सेवाओं का अच्छे से उपयोग करें। भर्ती मरीजों को समय पर दवा-भोजन उपलब्ध करायें। मरीजों को शौचालय आदि जाने में भी मदद करें। कुल मिलाकर इस अस्पताल के डाक्टर्स एवं स्टाफ नर्स की जिम्मेदारी है कि वे अस्पताल में मरीजों के साथ एक अच्छे वातावरण में काम करें और मरीजों को घर जैसा माहौल दें। जिससे वे ठीक होकर जाने के बाद स्टाफ की सराहना कर सकें और दुआऐं दे सकें।