पत्थरबाज कश्मीर में सबसे बड़ी समस्या बन चुके हैं। आए दिन वो सेना के जवानों पर पत्थरबाजी करते हैं। सोमवार को सुप्रीम कोर्ट ने पत्थरबाजों पर कार्रवाई करने की याचिका पर केंद्र सरकार को नोटिस दिया। कोर्ट ने पत्थरबाजों के खिलाफ केस वापस ले लिए और याचिका खारिज कर दी।
इससे पहले, पिंगलिना जैसी स्थितियों से निपटने के लिए रक्षा विशेषज्ञ जीडी बख्शी ने न्यूज चैनल आजतक से कहा है कि पत्थरबाजों को आतंकी समझकर उनपर कार्रवाई की जाए। जब बाबा रामरहीम वाला कांड हुआ था तो पुलिस ने उपद्रवियों को सीधे गोली मारी थी। जब पुलिस वालों को ओपन फायर की इजाजत मिल सकती है तो सेना को क्यों नहीं मिल सकती। जीडी बख्शी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में 250 आतंकियों से जितना खतरा है उससे कम वहां के 40 हजार पत्थरबाजों से भी नहीं है।
इन पत्थरबाजों को आतंकियों की तरह डील करना होगा। उनके ऊपर सख्त एक्शन लेने की जरूरत है। यह बस एक-दो बार ही करना होगा, इसके बाद इसकी जरूरत भी नहीं पड़ेगी। हमारे लड़कों को ऑपरेशन शुरू करते समय ऐसा करना पड़ेगा। जरूरत हुई तो रॉकेट लॉन्चर का इस्तेमाल करना होगा।