





राज्यपाल ने कहा कि वर्तमान समय में जब लोग विभिन्न प्रकार के रोगों और मानसिक तनाव के दौर से गुजर रहे हैं । ऐसे में प्राचीन पुराणों एवं ग्रंथों का श्रवण हमारे चित्त को शांति एवं एकाग्रता प्रदान करते हैं । उन्होंने बताय कि शिव पुराण के संबंध में मान्यता है कि जो भी भक्त भगवान शिव की आराधना करता है] या फिर इस शिव पुराण का पाठ करता है या करवाता है या फिर पूर्ण श्रद्धा एवं भक्ति भाव के साथ शिव पुराण कथा का श्रवण करता है, भगवान शिव उसका कल्याण करते हैं। इस पवित्र कथा के सुनने मा़त्र से पुण्य की प्राप्ति होती है। मनोकामनाएं पूर्ण हो जाती हैं और व्यक्ति के समस्त प्रकार के कष्ट और पाप नष्ट हो जाते हैं।
राज्यपाल ने कहा कि भगवान शिव सदैव लोक पकारी एवं कल्याणकारी हैं। पुराणों में शिव को त्याग] तपस्या] वात्सल्य तथा करुणा की मूर्ति बताया गया है । कहा गया है कि शिव सहज ही प्रसन्न हो जाने वाले एवं मनोवांछित फल देने वाले देवता हैं। इस सृष्टि का निर्माण भगवान शिव की इच्छा मात्र से ही हुआ है, इसलिए उनकी भक्ति करने वाले व्यक्ति को संसार की सभी वस्तुएं प्राप्त हो सकती हैं।
राज्यपाल ने इस अवसर पर पं.प्रदीप मिश्रा जी के छत्तीसगढ़ आगमन पर उन्हें स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया।