शाहजहांपुर
ये एक ऐसा जिला है जहां पूरे देश की सबसे अनोखी होली (shahjahanpur special holi celebration) मनाई जाती है। जहां जूते मार होली (Juta Maar Holi) खेली जाती है। मस्जिद में रंग ना पड़े और कोई सांप्रदायिक विवाद ना हो इसके लिए शहर में निकलने वाले लॉट साहब के जुलूस के रास्ते में पढ़ने वाली 40 मस्जिदों को ढक दिया जाता है और सुरक्षा के लिए मस्जिद के बाहर पुलिसकर्मियों की तैनाती की जाती है।
दरअसल यहां शहर में लॉट साहब के 2 जुलूस निकलते हैं। जिसमें एक शख्स को लॉट साहब बनाकर भैंसा गाड़ी पर बैठाया जाता है और फिर उसे जूते और झाड़ू मार कर पूरे शहर में घुमाया जाता है। इस दौरान आम लोग लॉट साहब को जूते भी फेंक कर मारते हैं।
क्या होता है जूता मार होली में?
चूंकि जुलूस में भारी संख्या में हुड़दंग होता है तो कई बार ऐसा हुआ है जब मस्जिद में लोगों ने रंग डाल दिया और विवाद की स्थिति पैदा हो गई। इसके बाद जुलूस के रास्ते में पढ़ने वाली 40 मस्जिदों को पूरी तरीके से ढक दिया गया है। आपको बता दें कि अंग्रेजों के प्रति अपना आक्रोश प्रकट करने के लिए यहां एक व्यक्ति को अंग्रेज का प्रतीक लॉट साहब बनाकर उसे भैंसा गाड़ी पर बिठाया जाता है और फिर जूतों और झाड़ू से पीटा जाता है।
दशकों पुरानी है परंपरा..प्रशासन रहता है मुस्तैद
सांप्रदायिक सौहार्द ना खराब हो इसके लिए पुलिस और प्रशासन हर थाना स्तर पर पीस मीटिंग का आयोजन करता है और आपसी सहमति के बाद मस्जिदों को पूरी तरीके से ढक दिया जाता है। फिलहाल यहां जूते मार होली खेलने की परंपरा दशकों पुरानी है। पुलिस अधीक्षक आनंद का कहना है कि शहर में सुरक्षा व्यवस्था बनाए रखने के लिए भारी संख्या में पैरा मिलिट्री फोर्से, पीएसी और कई जिलों की पुलिस फोर्स बुलाई गई है जो मस्जिदों और पूरे शहर की सुरक्षा करेगी साथ ही ड्रोन के जरिए भी जुलूस पर नजर रखी जाएगी।